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बलिया में अस्पताल की लापरवाही: मोबाइल टॉर्च की रोशनी में कराए गए 4 बच्चों के जन्म

उत्तर प्रदेश: बलिया ज़िले में एक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) में एक महिला के फर्श पर बच्चे को जन्म देने का वीडियो वायरल होने के कुछ ही दिनों बाद, उसी ज़िले से एक और चौंकाने वाली घटना सामने आई है। इस बार बेरुआरबारी ब्लॉक के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (पीएचसी) में बिजली कटौती के कारण चार महिलाओं ने मोबाइल फोन की टॉर्च की रोशनी में बच्चों को जन्म दिया।

रिपोर्ट्स के अनुसार, बिजली गुल होने की वजह अस्पताल के ट्रांसफार्मर में आई खराबी थी।

द टाइम्स ऑफ इंडिया के हवाले से बलिया के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. संजीव बर्मन ने बताया, “मामला सामने आने के बाद मैंने बेरुआरबारी पीएचसी प्रभारी और अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगा। जांच में यह स्पष्ट हुआ कि अस्पताल का ट्रांसफार्मर खराब था, जिसे अब बदल दिया गया है। अस्पताल का जेनरेटर भी जांच में ठीक पाया गया। मोबाइल टॉर्च की रोशनी में चार डिलीवरी कराए जाने के आरोपों की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। जांच रिपोर्ट आने के बाद ही आगे की कार्रवाई तय की जाएगी।”

स्थानीय निवासियों का कहना है कि जिला मुख्यालय से करीब 12 किलोमीटर दूर स्थित इस पीएचसी का ट्रांसफार्मर सोमवार को खराब हो गया था। हालांकि, बैकअप के तौर पर लगाए गए सौर ऊर्जा संयंत्र को चालू नहीं किया जा सका। ऐसे में देर शाम या रात के समय प्रसव के लिए पहुंचने वाली महिलाओं की डिलीवरी डॉक्टरों और स्टाफ को मोबाइल की रोशनी में करानी पड़ी।

स्थानीय लोगों ने दावा किया कि पिछले कुछ दिनों में इस तरह के चार मामले सामने आए हैं। इसके अलावा, कई मरीजों के परिजनों ने अस्पताल में मरीजों को भोजन जैसी बुनियादी सुविधाएं न मिलने की भी शिकायत की।

इस पर सीएमओ का कहना है कि शिकायतों की बाढ़ संभवतः “लॉबिंग” (दबाव) का नतीजा हो सकती है, इसलिए अंतिम निर्णय जांच रिपोर्ट आने के बाद ही लिया जाएगा। गौरतलब है कि यह पीएचसी आसपास के 26 गांवों की 70,000 से अधिक आबादी पर निर्भर है।

गौरतलब है कि बलिया ज़िला दो दिन पहले भी सुर्खियों में आया था, जब 24 मई को सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें सोनबरसा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) के लाउंज में एक महिला को फर्श पर बच्चे को जन्म देते हुए देखा गया। इस मामले को संज्ञान में लेते हुए सीएमओ ने सोनबरसा सीएचसी से चार लोगों — इमरजेंसी मेडिकल अधिकारी, शिफ्ट डॉक्टर और दो स्टाफ नर्सों — का तबादला कर दिया था।

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