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MP: झोलाछाप डॉक्टर के गलत इंजेक्शन से महिला ने गंवाई आंखों की रोशनी, क्लिनिक सील, डॉक्टर गिरफ्तार

भोपाल। मध्य प्रदेश के मुरैना जिले के पोरसा क्षेत्र में एक गंभीर लापरवाही का मामला सामने आया है, जहां एक झोलाछाप डॉक्टर द्वारा इलाज के दौरान गलत इंजेक्शन लगाए जाने से 35 वर्षीय महिला मनीषा कुशवाह की आंखों की रोशनी चली गई। पीड़िता की शिकायत के बाद पुलिस ने आरोपी डॉक्टर को गिरफ्तार कर उसका क्लिनिक सील कर दिया है। साथ ही जिला प्रशासन ने जांच के आदेश भी दे दिए हैं।

क्या है मामला?

मनीषा कुशवाह ने जनसुनवाई में पुलिस अधीक्षक समीर सौरभ को बताया कि 11 जुलाई को ठंडी खीर खाने के बाद उसके शरीर में तेज दर्द और सांस लेने में तकलीफ शुरू हो गई थी। इस पर वह अपनी मां के साथ पोरसा स्थित डॉक्टर प्रमोद जैन के क्लिनिक पर गई थी। बिना किसी जांच के डॉक्टर ने दो गोलियां दी और दो इंजेक्शन लगा दिए।

इंजेक्शन लगते ही मनीषा की हालत और बिगड़ गई। डॉक्टर ने इलाज जारी रखने के बजाय उसे घर भेज दिया। शाम तक मनीषा को दिखाई देना बंद हो गया।

आंखों की रोशनी जाने के बाद ग्वालियर में भी कराया इलाज

मनीषा की तबीयत बिगड़ती देख परिजन उसे फिर से डॉक्टर के पास लेकर पहुंचे, लेकिन डॉक्टर ने उसे ग्वालियर रेफर कर दिया। ग्वालियर में इलाज के बावजूद भी उसकी आंखों की रोशनी वापस नहीं आई। धीरे-धीरे उसकी शारीरिक स्थिति और खराब होने लगी, और वह चलने-फिरने में भी असमर्थ हो गई।

मंगलवार को पीड़िता अपने माता-पिता के साथ मुरैना एसपी कार्यालय पहुंची। इस दौरान माता-पिता ने उसे सहारा देकर लाया, क्योंकि अब वह खुद से चल भी नहीं पा रही है। जनसुनवाई के दौरान उसने अपनी आपबीती पुलिस अधीक्षक समीर सौरभ को सुनाई।

पुलिस वाहन से भेजा अस्पताल

मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी समीर सौरभ ने एएसपी सुरेंद्र प्रताप सिंह डाबर को पूरे मामले की जांच की मॉनिटरिंग का जिम्मा सौंपा। पीड़िता को पुलिस वाहन से जिला अस्पताल भिजवाया गया। वहीं, सीएमएचओ को बेहतर इलाज की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए।

दर्ज हुआ केस, क्लिनिक सील

मनीषा व परिजनों की शिकायत पर पुलिस ने 28 जुलाई को पोरसा थाने में केस दर्ज किया। इसके बाद सीएमएचओ ने 5 सदस्यीय जांच दल गठित किया, जिसमें डॉ. मयंक शर्मा, डॉ. राहुल शर्मा, फार्मासिस्ट ब्रजमोहन सिंह तोमर, रेडियोग्राफर अरुण नागर और धीरेंद्र पचौरी शामिल हैं। 1 अगस्त को जांच दल ने आरोपी डॉक्टर के क्लिनिक को सील कर दिया और जांच शुरू कर दी।

जांच टीम यह पता लगाने में जुटी है कि मनीषा की आंखों की रोशनी जाने की असली वजह क्या थी, उसे कौन-सी दवा दी गई, उसका क्या साइड इफेक्ट हुआ और इलाज में क्या लापरवाही बरती गई। इसका खुलासा जांच रिपोर्ट आने के बाद ही हो सकेगा।

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